गैर मान्यता प्राप्त पत्रकारों को भी मिले योजना का लाभ: मुख्यमंत्री को सौंपा गया ज्ञापन
रमेश ठाकुर के सहयोग से बेतिया से वकीलुर रहमान खान की ब्यूरो रिपोर्ट।
बेतिया (पच्छिम चम्पारण)
अखिल भारतीय पत्रकार सुरक्षा समिति, पश्चिम चंपारण इकाई ने पत्रकार सम्मान योजना को अधिक समावेशी, पारदर्शी और व्यावहारिक बनाने की माँग की है। इसी संदर्भ में समिति की ओर से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नाम एक ज्ञापन जिलाधिकारी पश्चिम चंपारण को सौंपा गया।
समिति ने अपने ज्ञापन में कहा है कि पत्रकारों को ₹6,000 से बढ़ाकर ₹15,000 की गई सम्मान राशि का निर्णय सराहनीय है, लेकिन इससे केवल मान्यता प्राप्त और नियोजित पत्रकारों को ही लाभ मिल रहा है। जबकि प्रदेश में हजारों अवैतनिक एवं गैर-मान्यता प्राप्त पत्रकार सीमित संसाधनों में जनहित की पत्रकारिता कर रहे हैं और योजना के लाभ से वंचित हैं।
*ग्रामीण पत्रकारों को भी मिले लाभ*
ज्ञापन में विशेष रूप से ग्रामीण और आंचलिक क्षेत्रों में कार्यरत पत्रकारों को योजना में शामिल करने पर बल दिया गया है। समिति का कहना है कि इन क्षेत्रों में कार्यरत पत्रकार बिना स्थायी नियुक्ति के भी जनसेवा में लगे हैं, जिन्हें समान रूप से सम्मान और सामाजिक सुरक्षा मिलनी चाहिए।
*चयन प्रक्रिया हो पारदर्शी*
समिति ने योजना की चयन प्रक्रिया को पारदर्शी और निष्पक्ष बनाने की माँग की है। इसके तहत पत्रकार की पृष्ठभूमि, कार्यक्षेत्र और अनुभव को आधार बनाकर योग्यता निर्धारित करने का सुझाव दिया गया है।
*पत्रकारों को मिले न्यूनतम मानदेय और पेंशन*
समिति ने यह भी प्रस्ताव रखा है कि राज्यस्तरीय मापदंड तय करते हुए पत्रकारों को न्यूनतम मानदेय सुनिश्चित किया जाए। साथ ही पत्रकार पेंशन योजना को व्यावहारिक रूप देते हुए 10 वर्षों की सेवा अवधि, समाचार प्रकाशन, मीडिया पास और सरकारी कार्यक्रमों में सहभागिता को वैध प्रमाण माना जाए।
*सुरक्षा के लिए बने कानून, हर जिले में बने सुरक्षा सेल*
पत्रकारों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए समिति ने एक समग्र ‘पत्रकार सुरक्षा कानून’ की माँग की है। साथ ही प्रत्येक जिले में पत्रकार सुरक्षा सेल गठित करने की भी अपील की गई है।
*आकस्मिक सहायता और सस्ता आवास*
ज्ञापन में यह भी माँग की गई है कि पत्रकारों की आकस्मिक मृत्यु या आपदा की स्थिति में ₹15 लाख की सहायता राशि प्रदान की जाए। इसके अतिरिक्त पत्रकारों के लिए सस्ते दर पर आवास योजना लागू की जाए और सभी को नियमित पहचान पत्र जारी किया जाए।
*पूर्व में भी दिया गया था आग्रह*
समिति ने बताया कि इस मुद्दे पर पूर्व में भी प्रदेश संयोजक मनोज कुमार सिंह द्वारा सोशल मीडिया और ईमेल के माध्यम से सरकार से आग्रह किया गया था, लेकिन अब तक अपेक्षित पहल नहीं हो सकी है।
*मुख्यमंत्री से शीघ्र कार्रवाई की अपेक्षा*
समिति ने आशा जताई है कि मुख्यमंत्री इस ज्ञापन का संज्ञान लेते हुए अवैतनिक व असंगठित पत्रकारों के हित में शीघ्र आवश्यक संशोधन करेंगे ताकि पत्रकार सम्मान योजना अधिक समावेशी और प्रभावशाली बन सके।
इस अवसर पर ज्ञापन सौंपने पहुंचे शिष्टमंडल का नेतृत्व समिति के अध्यक्ष मधुकर मिश्रा ने किया। उनके साथ पत्रकार प्रेमचंद पांडेय, सत्येंद्र पांडेय, मृत्युंजय दुबे, मनोज मिश्रा, संजय पांडेय समेत अन्य सदस्य उपस्थित थे।