पटना: बिहार सरकार नितीश कुमार ने कर्मियों की कार्यदक्षता की समीक्षा के लिए समिति का गठन कर दिया हैं। अभी गृह विभाग के अंतर्गत आने वाले कर्मचारियों के लिए समिति का गठन किया गया है। धीरे-धीरे सभी विभागों में समिति का गठन किया जाएगा। इस समिति की अनुशंसा पर जून महीने से अकुशल कर्मचारियों को जबरन रिटायर कर दिया जाएगा।अगले महीने से अन्य विभागों के लिए समिति बनने लगेगी।
फिलहाल गृह विभाग के अंतर्गत आने वाले अफसरों से लेकर सिपाही तक के लिए आदेश आया है. कर्मचारियों के ओवरऑल परफॉमेंस और व्यवहार की साल में बार समीक्षा की जाएगी। जून और दिसंबर महीने में समिति की बैठक होगी. बैठक में सरकारी कर्मचारियों के परफॉर्मेंस रिपोर्ट तैयार किया जाएगा।समिति की सिफारिश पर अकुशल कर्मचारियों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति भी दी जाएगी.साल 2020 में सामान्य प्रशासन विभाग ने 50 वर्ष से अधिक उम्र के कर्मियों की कार्यदक्षता और व्यवहार की समीक्षा करने का निर्देश जारी किया था।
इसे लागू करने के लिए ही गृह विभाग ने दो समितियों का गठन किया है. समूह ‘क’ कर्मचारियों के कार्यकलापों की समीक्षा के लिए गृह विभाग के अपर मुख्य सचिव की अध्यक्षता में चार सदस्यीय टीम का गठन किया गया है।
इसमें सचिव, विशेष सचिव और विभागीय मुख्य निगरानी पदाधिकारी सदस्य होंगे।दूसरी तरफ समूह ‘ख’, ‘ग’ और अवर्गीकृत सरकारी सेवकों के कार्यकलापों की समीक्षा के लिए गृह विभाग के सचिव की अध्यक्षता में समिति बनाई गई है। तीन सदस्यीय इस समिति में संयुक्त सचिव सह मुख्य निगरानी पदाधिकारी और अवर सचिव सदस्य होंगे।
सभी विभागों को सरकार के इस संकल्प के आलोक में ऐसी समितियां बनानी है. सबकी बैठकें साल में दो बार जून और दिसंबर माह में होगी। सरकार के सख्ती के बाद अपने कार्य के प्रति लापरवाह व वेतन को पेंशन समझने वाले लोगों में हलचल है।