ब्यूरो रिपोर्ट, बेतिया *मोदी सरकार द्वारा जबरन पारित कराया गया कृषि सम्बन्धित तीनों कनून न केवल किसान विरोधी है बल्की यह कानून देश को खाद्य असुरक्षा के दौर में पहुचाने वाला है- वीरेंद्र प्रसाद गुप्ता(विधायक सिकटा)
किसान महापंचायत तीनों कृषि विरोधी काले कानून को रद्द करने का किया मांग- विशेषकर यादव, राज्य अध्यक्ष किसान महासभा, बिहार
नरकटियागंज किसान नेताओं ने कहा कि किसान आन्दोलन के एक माह से अधिक समय बीत जाने के बाद भी मोदी सरकार देश के किसानों के खिलाफ दुष्प्रचार करने उनके आन्दोलन को बदनाम करने के लिये तरह- तरह का षडयंत्र रचने के काम मे लगी हुई है और दिल्ली बोर्डर पर रोज ब रोज किसानों पर दमन करेने के काम में लगी है, मुकदमा लाठी-गोली ,आशूगैस , पानी कि तोपो, मिर्च पाउडर कि बौछार समेत तमाम तरह के दमानकारी कार्यो में लिप्त है, आज के किसान महापंचायत तीनों कृषि विरोधी काले कानून को रद्द करने कि मांग किया। और मोदी सरकार के द्वारा जनता के खिलाफ छेडे गये इस युद्ध के खिलाफ देश बचाने के लिये संघर्ष का संकल्प लिये।
भाकपा-माले विधायक कामरेड वीरेंद्र प्रसाद गुप्ता जी ने कहा कि चम्पारण व बिहार के किसान ब्रिटिश कम्पनी राज के खिलाफ चलने वाली ऐतिहासिक लडाइयों मे कभी पीछे नही रहे है। आज फिर देश मे आडानीयों, अमबानीयों के कम्पनी राज के खिलाफ लडाई चल रही है। जब संसद मुख्यमंत्री नेता अधिकारी जनता के समस्याओं का समाधान नहीं करता है तो जनता अपनी समस्याओं का समाधान सड़कों पर उतरकर करती है मोदी सरकार द्वारा लाए गए तीनों काला कृषि कानून जब जबरन संसद से पारित कर लिया गया है तो जनता सड़कों पर उतरकर दिल्ली के विभिन्न मार्गों को घेरकर समाधान के दिशा में बढ़ रही है।
वैसा ही अपने यहां गन्ना किसानों के साथ हो रहा है, धान नहीं खरीदा जा रहा है चिट्ठी देने के बावजूद गाना पदाधिकारी गन्ना मूल्य भुगतान के समस्या समाधान नही किया है यहां आज नहीं जाए, उसे भी सड़क पर फरियाने के लिए तैयार कहना होगा हम आपके साथ खड़े हैं इसमें जो भी कुर्बानी देनी होगी हम देंगे देने के लिए तैयार हैं, मोदी सरकार द्वारा जबरन पारित कराया गया कृषि सम्बन्धित तीनों कनून न केवल किसान विरोधी है बल्की यह कानून देश को खाद्य असुरक्षा के दौर में पहुचाने वाला है, इस लडाई को आगे बढाने के लिये जिला मुख्यलाय मे 6 जनवरी से अनिश्चित कालिन धरना देने और गणतंत्र दिवश कि पुर्व संध्या पर 25 जनवरी को हर मुख्य सड़क पर मानव श्रृंखला बनाने का कार्यक्रम सफल करने का अह्वान किया।
किसान महासभा के राज्य अध्यक्ष विशेषवर यादव ने कहा कि चीनी मीले दो माह से अधिक समय से चल रही है। किसान मीलों को गन्ना का आपूर्ति करते रहे है. लेकिन आज तक गन्ना मूल्य का निर्धारण नही हो सका हैं। पटना और दिल्ली कि सरकारों कि नीति कम्पनी प्रस्त है। सरकार कि यह करवाई से चीनी मीलों के लूटराज कायम है। पिछले तीन सालो से गन्ना का मूल्य नही बढाया गया है। इस दौरान एक तरफा मोदी सरकार डीजल का दाम बढाकर और GST के जरिये किसानों को लुट रही है। दुसरी तरफ डीजल, किटनाषक, बिजली, ट्रेक्टर आदि के मूल्य बढोतरी के कारण कृषि लागत बढ गया है। किसान नेता ने गन्ना मुल्य 400 रुपया प्रति क्विंटल करने कि मांग किया ।
किसान महासभा के जिला संयोजक सुनील कुमार राव ने कहा कि आज कि किसान महापंचायत गन्ना प्रभेद 2061 समेत कई प्रभेदो को रिजेक्ट प्रभेद कि श्रेणी मे डालने की सरकार और चीनी मिलो कि करवाई को लुट का धांधा मानती है। 2061समेत तमाम घोषित रिजेक्ट प्रभेद को समान्य श्रेणी मे डालने का मांग किया ।
आगे कहा कि चीनी मिलो मे गन्ना की घतटौली कि जा रही है. इस पर रोक के लिये गन्ना के शेष के पैसे से हर चीनी मिल गेट के पास किसान संगठनो के नियंत्रण मे धर्म काटा कि व्यवस्था कि जाय ।
किसान नेता अखिलेशवर राव ने कहा कि गन्ना मापी और आपुर्ती चलान वितरण मे कोई पारदर्शीता नही है। इसे पारदर्शी बानाने कि व्यवस्था हो, VIP गन्ना आपुर्ती चलान पर रोक लगाया जाय।
किसान महासभा के सह संयोजक इन्द्र देव कुशवाहा ने किसान महापंचायत का संचलन करते हुए कहा कि मझौलिया, लौरिया चीनी मील द्वारा पिछले साल कि गन्ना का भुगतना आज तक नही हो सका है। नितीश -भाजपा कि सरकार किसानो कि दिक्कतों के बारे मे संवेदनहीन बनी हुई है. और न्यायालय के आदेश के बावजूद देर से किये गये भुगतान का ब्याज का पैसा चीनी मिलो से नही मिल पा रही है। उनहोंने मांग किया कि देर से किये गये सभी भुगतना पर चीनी मिलो से ब्याज दिलवाने कि गरान्टी करे, न्यायालय के आदेश कि अवहेलना करने वाले चीनी मिलो के जिम्मेदार पदाधिकारियों पर मुकदमा कर उन्हें जेल दे।
न्यायालय के आदेश पालन कराने मे जिला पदाधिकारी कि निष्क्रियता और चीनी मिल प्रस्त भुमिका कि निन्दा किया।
किसान नेता सुजायत अंसारी ने कहा कि .MSP पर धान कि खरीद करने के बदले नितीश सरकार सिर्फ कागजों मे घोषणा वा खानापुर्ती करने मे लगी हुई हैं। दिनांक 01/01/2021 से 10/01/2021 के बीच सरकार द्वारा धान खरीद कि घोषणा किसानों के साथ धोखा है, उनहोंने मांग किया है सभी किसानों का धान MSP पर खरीद कि गरान्टी करे और कम कीमत पर बेच चुके धान के मूल्य मे भावअंतर कि रकम कि भरपाई सरकार करने कि गरान्टी करे।इनके अलावा अरुण राय, रामराज यादव, फखरूद्दीन, सुरेश दुवे, इब्राहिम मियां, श्रीकान्त ठाकुर, आदि किसानों ने किसान विरोधी कानून को रद्द करने की मांग किया।