दीये से दीये को जलाकर समाज के अंतिम से अंतिम व्यक्ति को करें प्रकाशमान, सत्तत जीविकोपार्जन योजना अत्यंत ही महत्वाकांक्षी योजना : जिलाधिकारी।

दीये से दीये को जलाकर समाज के अंतिम से अंतिम व्यक्ति को करें प्रकाशमान, सत्तत जीविकोपार्जन योजना अत्यंत ही महत्वाकांक्षी योजना : जिलाधिकारी।

Bettiah Bihar

 

सही मायने में जिले का विकास तभी होगा जब समाज का अंतिम व्यक्ति भी आगे बढ़ें।

शराबबंदी एवं नशामुक्ति के लिए सभी को आना होगा आगे।

सत्तत जीविकोपार्जन योजना से सम्बद्ध लाभार्थियों का जिला प्रशासन के साथ संवाद कार्यक्रम का हुआ आयोजन।

जिले के 2055 लाभार्थियों को सत्तत जीविकोपार्जन योजना से किया गया है लाभान्वित।

3361 लाभार्थियों को किया गया है चिन्हित, शीघ्र मिलेगी सहायता।

15-30 दिसंबर तक विशेष अभियान चलाकर और लाभार्थियों को किया जाएगा चिन्हित।

न्यूज़ ब्यूरो वकीलुर रहमान खान

बेतिया। सत्तत जीविकोपार्जन योजना से सम्बद्ध लाभार्थियों का जिला प्रशासन के साथ संवाद कार्यक्रम का आयोजन आज डीआरसीसी के सभागार में सम्पन्न हुआ। संवाद कार्यक्रम का आयोजन जिला परियोजना समन्वयन इकाई, जीविका, पश्चिम चम्पारण द्वारा किया गया।

संवाद कार्यक्रम का विधिवत उद्घाटन जिलाधिकारी, पश्चिम चम्पारण, बेतिया, श्री कुंदन कुमार द्वारा दीप प्रज्जवलित कर किया गया। इस अवसर पर उप विकास आयुक्त, श्री अनिल कुमार, डीपीएम, जीविका, श्री अविनाश कुमार सहित जीविका के अन्य पदाधिकारी उपस्थित रहे। जीविका द्वारा प्रजेंटेशन के माध्यम से अबतक की कार्य प्रगति की जानकारी से जिलाधिकारी सहित उपस्थित लाभार्थियों, जीविका दीदियों को अवगत कराया गया।

जिलाधिकारी, श्री कुंदन कुमार ने कहा कि सत्तत जीविकोपार्जन योजना सरकार की अत्यंत ही महत्वाकांक्षी योजना है। इस योजना का मुख्य उदेश्य उन लोगों को जीविका के साधन उपलब्ध करना है, जो पूर्व में परंपरागत रूप से शराब के कारोबार में लिप्त थे तथा अब शराब का कारोबार छोड़ कर घर-परिवार चलाने हेतु अन्य कारोबार के इच्छुक है।

उन्होंने कहा कि सत्तत जीविकोपार्जन योजना जिन्दगी को बदलने वाली योजना है। इस योजना के तहत जिले के हजारों लोगों को जीविको पार्जन हेतु आर्थिक सहायता पहुंचायी गयी है। उन्होंने कहा कि इस योजना के तहत जिले के 2055 लाभार्थियों को लाभान्वित किया गया है। साथ ही 3361 लाभार्थियों को चिन्हित किया गया है, जिन्हें अविलंब लाभ दिलाया जायेगा। जिले के अन्य संबंधित व्यक्तियों को सत्त जीविकोपार्जन योजना से लाभान्वित करने के लिए 15 दिसंबर से 30 दिसंबर तक एक विशेष अभियान जीविका के माध्यम से चलाया जाना है।

जिलाधिकारी ने कहा कि कोई देश, राज्य, जिला, परिवार तभी आगे बढ़ सकता है जब एक-एक व्यक्ति को आगे बढ़ाया जाय। गरीब से गरीब लोगों को आगे बढ़ाने हेतु सत्त जीविकोपार्जन योजना के तहत निरंतर कार्य किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि अंधेरे को दूर करने के लिए प्रकाश की आवश्यकता होती है उसी प्रकार समाज में व्याप्त अंधेरे यथा-नशापान, गरीबी आदि को दूर करने के लिए सभी को प्रकाशमान होना पड़ेगा। आवश्यकता इस बात की है कि अपने पड़ोसी तथा आसपास के गरीब से गरीब व्यक्ति को भी जागरूक एवं प्रेरित करें ताकि उनका भी जीविकोपार्जन सही तरीके से हो सके।

उन्होंने कहा कि संपूर्ण राज्य में शराबबंदी है। शराबबंदी को सफल कराने में सभी का योगदान बेहद ही जरूरी है। जीविका से जुड़ी महिलाएं इसमें सहयोग करें। उन्होंने कहा कि मातृ शक्ति जिस प्रकार अपना घर-परिवार, दुकान आदि बखूबी चलाती है, उसी प्रकार शराबबंदी, नशामुक्ति अभियान में सहयोग करें।

उन्होंने कहा कि शराबबंदी के पूर्व घर, परिवार, समाज में कई तरह के कलह होते रहते थे। अक्सर मारपीट, कई तरह के अपराध, सड़क दुर्घटना के साथ ही लोगों का स्वास्थ्य खराब होता रहता था। उन्होंने कहा कि नशा नाश का जड़ है। इससे सबसे ज्यादा प्रभावित महिलाएं होती रही हैं। आज शराबबंदी के बाद इन सभी पर अंकुश लगा है तथा लोग खुशहाल हैं।

जिलाधिकारी ने कहा कि हमारा जिला तबतक सही मायने में विकास नहीं करेगा, जबतक समाज के अंतिम से अंतिम व्यक्ति आगे नहीं बढ़ जाता। समाज के सभी व्यक्तियों को मिलजुल कर आगे बढ़ाना होगा। महिलाओं को सशक्त होने की आवश्यकता है। सबको टीम वर्क के साथ आगे बढ़ते रहना होगा। जिला प्रशासन हमेशा साथ है।

उन्होंने कहा कि शराबबंदी का उल्लंघन करने वाले तथा नशापान करने वाले की सूचना तत्काल अपने कार्यालय को दें। किसी को भी बख्शा नहीं जायेगा। गांव-टोला, हाट-बाजार में ऐसे व्यक्ति दिखते हैं तो तुरंत सूचना को साझा करें। सूचना देने वाले का नाम गोपनीय रखा जायेगा। उन्होंने कहा कि सभी आज संकल्प लें कि किसी को भी नशा पान नहीं करने देंगे, किसी भी प्रकार के नशा को पनपने नहीं देंगे, एक स्वच्छ, स्वस्थ एवं सुंदर घर-परिवार, समाज, जिला का निर्माण करेंगे।

संवाद कार्यक्रम में जिलाधिकारी द्वारा सत्तत जीविकोपार्जन योजना से जुड़ी महिलाओं से बातचीत की गयी। अनिता कुमारी ने बताया कि पहले वह एक महीना में तीन सौ रूपया कमाती थी अब 12-13 हजार रूपये कमा लेती है। जिससे उसके परिवार का भरण-पोषण अच्छे से हो रहा है। मझौलिया प्रखंड की भिखनी देवी ने बताया कि पूर्व में उनकी स्थिति अत्यंत ही खराब थी। पहले उनकी जीविका का साधन कुछ भी नहीं था, किसी तरह घर चल रहा था। अब सत्तत जीविकोपार्जन योजना का लाभ मिलने से वह 08 हजार रूपया महीना कमा रही है। साथ ही अपनी लड़की की शादी भी अच्छे तरीके से की है।

इसी तरह सीमा कुमारी ने बताया कि पहले वह 25-50 रूपया रोज कमाती थी, जिससे घर परिवार किसी तरह चल रहा था। सत्तत जीविकोपार्जन योजना से किराना दुकान आदि संचालित करती हूं। अब हजार-बारह सौ रूपया प्रतिदिन कमा लेती है। एक महीना में लगभग 15 हजार रूपया की आमदनी हो जाती है। अब उसका घर-परिवार अच्छे तरीक से चल रहा है। इसी तरह सुनीता देवी, गीता देवी, संगीता देवी आदि दर्जनों महिलाओं ने भी सत्त जीविकोपार्जन योजना से मिले लाभ के बारे में बताया।

जिलाधिकारी द्वारा डीपीएम, जीविका को निदेश दिया गया कि सत्तत जीविकोपार्जन योजना से लाभान्वित करने के लिए जिन महिलाओं को चिन्हित किया गया है, उन्हें सक्सेस स्टोरी दिखायें। सत्तत जीविकोपार्जन योजना से विभिन्न दुकानों का संचालन करने वाली तथा विभिन्न जीविकोपार्जन कार्य में लगी महिलाओं के साथ बैठक करायें ताकि इनका मनोबल भी बढ़ें और ये भी अच्छे तरीके से अपना जीविकोपार्जन कर सके।

इस अवसर पर उप विकास आयुक्त, श्री अनिल कुमार एवं डीपीएम, जीविका द्वारा सत्तत जीविकोपार्जन योजना के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी दी गयी।

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